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बीड़ (महाराष्ट्र)। भारत में कोरोना वायरस की दूसरी लहर का प्रकोप जारी है। फिलहाल यह संकट थमता नजर नहीं आ रहा है। लेकिन अभी अस्पताल में बेड और ऑक्सीजन की किल्लत बनी हुई है। हालांकि इस मुश्किल घड़ी में कई ऐसे लोग हैं जो मसीहा की तरह लोगों की मदद करने में जुटे हुए हैं। ऐसी एक दिल खुश कर देने वावी खबर महाराष्ट्र से सामने आई है, जहां बीड़ जिले के 4 दोस्तों ने मदद का हाथ बढ़ाया। चारों ने मिलकर एक 50 बेड का कोविड केयर सेंटर स्थापित किया है। जिसमें गरीब मरीजों को मुफ्त में इलाज मिलता है और खाने से लेकर एंबुलेंस का भी पैसा भी नहीं देना पड़ता।
दरअसल, शिरुर तहसील के आइडियल इंग्लिश स्कूल में 50 बिस्तर वाला कोविड सेंटर बनाने वाले चार दोस्त प्रकाश देसारडा, डॉ. भगवान सानप, डॉ. गणेश देशपांडे और अभिजीत डुंगरवाल हैं। इसे बनाने में करीब 30 लाख रुपए का खर्च आया है। जिसके लिए सभी दोस्तों ने बराबर पैसा इकठ्ठा किया है।
चारों दोस्तों ने बताया कि यह कोविड सेंटर ‘नो प्रॉफिट-नो लॉस’ कॉन्सेप्ट पर तैयार किया गया है। इसे बनाने का हमारा मकसद सिर्फ और सिर्फ गरीब और गांव के लोगों का समय पर इलाज करना है। इसके लिए हम यहां आने वाले मरीजों से सरकारी हॉस्पिटल की फीस से भी कम पैसा लेते हैं। अगर कोई इसे देने में भी मना करता है तो हम उसके साथ कोई जबरदस्ती नहीं करते। पैसा लेने का उद्देशय है कि ताकि उनको ऐसा नहीं लगे कि किसी ने दया भाव दिखाते हुए उनका इलाज किया है। यहां भर्ती होने वाले सभी मरीजों को खाना और अन्य सुविधाएं मुफ्त दी जाती हैं
चारों ने बराबर-बराबर पैसा जमा किए और प्रशासन के पास अपना प्लान बताकर अनुमति ली। जिसके बाद 18 अप्रैल को इस कोविड सेंटर को शुरू कर दिया। हमारा मकसद कोई कमाई करना नहीं है, बस लोगों को इलाज होता रहे। अभी यह सेंटर ‘नो प्रॉफिट-नो लॉस’ में चल रहा है।
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