महाराष्ट्र के सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से जारी सरकारी संकल्प में कहा गया है कि अधिकारी उनसे मिलने आने वाले लोगों में भी वंदे मातरम का अभिवादन के तौर पर इस्तेमाल करने के लिए जागरूकता पैदा करें। इस आदेश की कॉपी सभी विभागों में भेज दी गई हैं।
महाराष्ट्र में शिंदे सरकार के आने के बाद से ही बीजेपी और शिंदे की शिवसेना मिलकर अपने हिंदू वोट बैंक को कवर करने में जुटी है। इसी बीच महाराष्ट्र सरकार ने एक नया सरकारी संकल्प जारी किया है। शनिवार को जारी किए गए इस संकल्प के मुताबिक अब सरकारी कर्मचारियों को फोन पर ‘हैलो‘ की बजाय ‘वंदेमातरम‘ बोलना होगा। यह नियम गांधी जयंती यानी आज से लागू होगा। महाराष्ट्र सरकार ने शनिवार को जारी किए एक सरकारी संकल्प में कहा कि सरकारी और सरकारी वित्त पोषित संस्थानों में काम करने वाले सभी कर्मचारी फोन कॉल लेते समय ‘हैलो‘ की बजाय ‘वंदे मातरम‘ का उपयोग करेंगे।
मिलने आने वाले लोग भी अभिवादन के लिए ‘वंदेमातरम‘ का उपयोग करें
महाराष्ट्र के सामान्य प्रशासन विभाग की ओर से जारी सरकारी संकल्प में कहा गया है कि अधिकारी उनसे मिलने आने वाले लोगों में भी वंदे मातरम का अभिवादन के तौर पर इस्तेमाल करने के लिए जागरूकता पैदा करें। इस आदेश की कॉपी सभी विभागों में भेज दी गई हैं।
एआईएमआईएम ने इस सरकारी संकल्प पर उठाए सवाल
इस आदेश के बाद एआईएमआईएम ने सवाल खड़ा किया है। एआईएमआईएम नेता वारिस पठान ने सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि ये सब सिर्फ बेरोजगारी, महंगाई से ध्यान भटकाने का नाटक है। वारिस पठान ने बीजेपी पर तंज कसते हुए कहा कि इनसे अगर कोई बेरोजगारी महंगाई पर बात करे तो ये चीते से भी तेज भाग जाएंगे। पठान ने सवाल पूछा कि मान लो किसी ने वंदेमातरम नहीं बोला तो ये क्या करेंगे। उस पर केस करेंगे या फांसी दे देंगे, ये भी बीजेपी को बताना होगा।
महाराष्ट्र के संस्कृति मंत्री ने पहले ही दिया था बयान
इस मामले में महाराष्ट्र के सांस्कृतिक मामलों के मंत्री सुधीर मुंगतीवार ने पहले ही अपना वक्तव्य दिया था। उन्होंने पहले ही कहा था कि ‘हम आजादी के 76वें साल में प्रवेश कर रहे हैं। हम आजादी का अमृत महोत्सव मना रहे हैं। इसलिए मेरा यह कहना है कि सरकारी महकमे में लोग फोन पर ‘वंदेमातरम‘ कहें।
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