शिमला। हिमाचल प्रदेश में भारी बारिश का बड़ा कहर देखने को मिला है। स्टेट डिजास्टर मैनेजमेंट अथॉरिटी के अनुसार, हिमाचल प्रदेश में मानसून की शुरुआत के बाद से पिछले 41 दिनों के दौरान 200 लोगों की मौत हो गई, जबकि 31 लोग लापता हैं। 199 में से 57 मौतें भूस्खलन और बाढ़ के कारण हुईं, जबकि 142 मौतें सड़क दुर्घटनाओं के कारण हुईं। इस दौरान इन्फ्रास्ट्रक्चर का भी भारी नुकसान हुआ है। यह आकलन स्टेट मैनेजमेंट अथॉरिटी की रिपोर्ट में हुआ है।
स्टेट डिजास्टर मैनेजमेंट के प्रिंसिपल सेक्रेट्री के मुताबिक जैसे-जैसे राज्य बारिश और बाढ़ से उबर रहा है, मौतों की संख्या बढ़ती जा रही है। बारिश से बुनियादी ढांचे को हुए नुकसान का अनुमान भी बढ़ रहा है।
आंकड़ों में दावा किया गया है कि मॉनसून तबाही के दौरान बुनियादी ढांचे को 6563.58 करोड़ का नुकसान होने की आशंका है। आंकड़े बताते हैं कि राज्य में लगभग 300 बंद सड़कें हैं। 42 जल आपूर्ति योजनाएं और 274 विद्युत आपूर्ति योजनाएं अभी भी बाधित हैं। सर्वे लगातार जारी है। इसलिए आशंका है कि नुकसान अधिक हुआ होगा।
स्टेट डिजास्टर मैनेजमेंट अथॉरिटी के डेटा के अनुसार, बारिश के कारण आई बाढ़ से राज्य में 774 घर ढह गए हैं, जबकि 7317 घर आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हो गए हैं। 254 दुकानें और 2337 गौशालाएं क्षतिग्रस्त हो गई हैं। राज्य में 79 भूस्खलन और 53 अचानक बाढ़ की घटनाएं देखी गईं। मानसून के शुरुआती दौर में ही हिमाचल प्रदेश में भारी बाढ़ आ गई थी।
Leave a Reply