
यूनिक समय, नई दिल्ली। महाराष्ट्र के नागपुर जिले में हाल ही में हुई हिंसा के बाद इलाके में कर्फ्यू लगा दिया गया है। इस हिंसा में पथराव, गाड़ियों में तोड़फोड़ और आगजनी की घटनाएं हुईं, जिसके बाद प्रशासन ने सुरक्षा उपायों के तहत कर्फ्यू लागू किया। नागपुर के महल इलाके में हुई इस हिंसा के बाद पूरे शहर में तनाव की स्थिति बनी हुई है। कर्फ्यू नागपुर के कोतवाली, गणेशपेठ, लकड़गंज, पचपावली, शांतिनगर, सक्करदरा, नंदनवन, इमामवाड़ा, यशोधरा नगर और कपिल नगर पुलिस थाना क्षेत्रों में लागू किया गया है और यह अगले आदेश तक जारी रहेगा।
नागपुर के पुलिस आयुक्त, डॉ. रविंदर कुमार सिंघल के अनुसार, इस हिंसा में 20 से 22 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं, जबकि 62 से 65 उपद्रवियों को हिरासत में लिया गया है।
हिंसा के दौरान हंसपुरी इलाके के एक स्थानीय दुकानदार ने अपनी आपबीती साझा की। उन्होंने बताया, “रात 10.30 बजे मैंने अपनी दुकान बंद की और तभी देखा कि लोग गाड़ियों में आग लगा रहे हैं। जब मैंने आग बुझाने की कोशिश की तो मुझे पत्थर से मारा गया। मेरी दो गाड़ियां और आसपास खड़ी कुछ अन्य गाड़ियां जला दी गईं।” एक अन्य स्थानीय व्यक्ति ने बताया कि घटना के डेढ़ घंटे बाद पुलिस पहुंची, लेकिन इस दौरान उपद्रवियों ने पहले सीसीटीवी कैमरों को नुकसान पहुंचाया था।
इस पर एआईएमआईएम के राष्ट्रीय प्रवक्ता वारिस पठान ने कहा, “हम हर प्रकार की हिंसा की निंदा करते हैं और सभी से कानून का पालन करने की अपील करते हैं। इस हिंसा के कारणों की जांच महाराष्ट्र सरकार को करनी चाहिए। हाल ही में हैदराबाद से आए टी. राजा सिंह ने पुणे में नफरत फैलाने वाला भाषण दिया। सरकार को ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त कार्यवाही करनी चाहिए।”
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