
यूनिक समय, नई दिल्ली। पाकिस्तान की खुफिया एजेंसियों को संवेदनशील जानकारी लीक करने के आरोप में गिरफ्तार किए गए केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के एक जवान को राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने हिरासत में ले लिया है। अदालत ने इस मामले को देश की सुरक्षा से जुड़ा गंभीर खतरा मानते हुए आरोपी को 15 दिन की एनआईए रिमांड पर भेजने का आदेश दिया है।
पटियाला हाउस कोर्ट के विशेष न्यायाधीश चंद्रजीत सिंह ने सुनवाई के दौरान टिप्पणी की कि सशस्त्र बल देश की सुरक्षा की रीढ़ हैं और इसमें सेंध लगाना देशद्रोह के समान है। उन्होंने कहा कि इस तरह की गतिविधियां न केवल राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए बल्कि देश में रहने वाले नागरिकों और विदेशी मेहमानों के लिए भी खतरा बन सकती हैं।
यह मामला 22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद शुरू हुई जांच का हिस्सा है, जिसमें 26 निर्दोष लोगों की जान चली गई थी। 17 मई को सीआरपीएफ के वरिष्ठ अधिकारियों को जवान की संदिग्ध गतिविधियों की जानकारी मिली, जिसके बाद उसे पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया। एनआईए ने 21 मई को उसे आधिकारिक रूप से गिरफ्तार किया।
जांच में सामने आया है कि जवान ने भारतीय सुरक्षा बलों की तैनाती, गतिविधियों और सैन्य ठिकानों से जुड़ी महत्वपूर्ण जानकारियां पाकिस्तान के एजेंटों को पहुंचाईं। एनआईए को संदेह है कि आरोपी जवान पिछले कुछ महीनों से सीमा पार पाक एजेंटों के संपर्क में था और उसने यह जानकारी किस माध्यम से और किन परिस्थितियों में साझा की, इसकी गहराई से जांच की जा रही है।
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