पुलवामा हमला के विरोध में जम्मू में हिंसा, कर्फ्यू

जम्मू| पुलवामा में CRPF की बस पर हुए आत्मघाती हमले के विरोध में जम्मू और उसके आसपास के इलाकों में हिंसक घटनाएं भड़कने के बाद प्रशासन ने कर्फ्यू लगा दिया है। शहर के गुज्जर नगर इलाके में प्रदर्शनकारियों ने जब बाजार को बंद करवाने की कोशिश की तो मुस्लिम बहुल इलाके में छत पर मौजूद लोगों ने भीड़ पर पत्थर फैंकना शुरू कर दिए। पथराव में एक दर्जन से अधिक प्रदर्शनकारी जख्मी भी हुए हैं।
पथराव के बाद हाथों में तिरंगा लिए सैकड़ों लोग भड़क गए और तोड़फोड़ शुरू हो गई। पुलिस ने भी प्रदर्शनकारियों को तितर-बितर करने के लिए अश्रुगैस और लाठियां भांजी। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने सड़कों के किनारे खड़े करीब 12 वाहनों को आग के हवाले कर दिया जबकि दो दर्जन से अधिक गाड़ियां तोड़ दी। इस घटना को देखते हुए इलाके में जबरदस्त तनाव पैदा हो गया है। बिगड़ते हालात को देखते हुए प्रशासन ने शहर में धारा 144 लगा दी है।
डिवीजनल कमिश्नर, डीसी और इंस्पेक्टर जनरल पुलिस के नेतृत्व में एक बैठक हुई जिसमें शहर की सुरक्षा के बारे में चर्चा हुई। जम्मू के डिप्टी कमिश्नर रोमेश कुमार का कहना है कि वह स्थिति पर नजर रखे हुए हैं। हिंसक घटनाएं बढ़ने पर कर्फ्यू लगा दिया गया है।
सेना को भी अलर्ट पर रखा गया है। शहर को जोड़ने वाले चार पुलों को प्रदर्शनकारियों ने बंद कर रखा है। पुल पर मौजूद लोग टायर जलाकर, हाथों में तिरंगा लिए भारत माता की जय, भारतीय सेना जिंदाबाद के नारे लगा रहे हैं। ये प्रर्शनकारी दुश्मनों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग कर रहे हैं।
हमले के विरोध में जम्मू संपूर्ण रूप से बंद है। जगह-जगह प्रदर्शनों के चलते शहर में वाहनों के पहिए पूरी तरह से थम गए हैं। तिरंगे लेकर सड़कों पर प्रदर्शन कर रहे युवाओं ने वर्ष 2008 के भूमि आंदोलन की यादों को ताजा कर दिया। जम्मू शहर में हर चौक, मोहल्ले से लेकर तवी नदी के पुलों तक पाकिस्तान मुर्दाबाद के नारे लगा रहे युवाओं ने आतंकवाद को शह दे रहे पड़ौसी देश के पुतले जलाए।
शहर के नई बस्ती इलाके में कुछ वाहनों के शीशे तोड़ने की घटना के अलावा दोपहर तक शहर में प्रदर्शन शांतिपूर्ण रहे। तवी पुल पर कई जगहों पर युवाओं के लगातार प्रदर्शनों के बाद भी एंबुलेंस, सेना, सुरक्षाबलों, जम्मू कश्मीर पुलिस के वाहनों को आने जाने दिया। इस दौरान प्रदर्शनकारियों ने सेना, केंद्रीय रिजर्व पुलिस जिंदाबाद के नारे भी बुलंद किए। हालांकि बाहरी राज्यों से श्री माता वैष्णो देवी के दर्शनों के लिए आए यात्रियों को स्टेशन पहुंचने पर असुविधा हो रही है। जम्मू विश्वविद्यालय ने पहले ही परीक्षाएं और प्रेक्टिकल रद्द कर दिए हैं।
आत्मघाती हमले के विरोध में धरना, प्रदर्शनों का यह सिलसिला वीरवार देर शाम से ही शुरू हो गया था। ऐसे में चौंबर आफ कामर्स, नेशनल पैंथर्स पार्टी, प्रदेश कांग्रेस समेत अन्य कई दलों ने जम्मू बंद की काल दी थी। उधर जम्मू के सीमावर्ती क्षेत्र आरएसपुरा कस्बे में भी हालात विस्फोटक हो गए हैं। पुलिस ने धार्मिक स्थल की ओर बढ़ रहे प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए उन पर अश्रुगैस और लाठीचार्ज किया। इससे लोग भड़क गए। जिससे स्थिति तनावपूर्ण बनी हुई है। जम्मू-पठानकोट स्थित घगवाल, जतवाल और सांबा में भी लोगों ने हाइवे पर टायर जलाकर पुलवामा घटना की कड़े शब्दों में निंदा करते हुए प्रदर्शन किया।

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