
संवाददाता
यूनिक समय, वृंदावन। कोविड-19 गाइड लाइन की धज्जियां उड़ाते हुए साप्ताहिक बुध बाजार लगा। दुकानदार आए और ग्राहक भी आए। किसी को कोरोना संक्रमण का खतरा नहीं। हैरत की बात तो यह है कि सरकार ने साप्ताहिक बाजारों पर रोक लगा दी है, फिर भी बुध बाजार लगा।
नगर निगम प्रशासन का कहना है कि वर्ष 2020 से ठेका उठा नहीं है और ना ही बुध बाजार लगाने की अनुमति दी है। फिर पुलिस ने कार्रवाई के लिए कोई कदम नहीं उठाया।
गौरतलब है कि कोरोना संक्रमण के बढ़ते संक्रमण केसों को देखते हुए प्रदेश सरकार ने साप्ताहिक बाजारों पर पूर्णत रुप से प्रतिबंध लगा दिया था, लेकिन बुध बाजार में आए दुकानदारों से ऐसा लग रहा है कि उनके लिए शासनादेश कोई मायने नहीं रखता है। देखने वाली बात तो यह थी कि अधिकांश दुकानदारों के मुंह पर मास्क नहीं था और ग्राहकों के मुंह पर। सोशल डिस्टेंसिग की बात तो छोड़ दीजिए। वृंदावन में वैसे ही कोरोना संक्रमण केस निरंतर निकल रहे हैं, यदि इस बाजार में आने वाले व्यक्ति के कोरोना संक्रमण हुआ तो स्थिति क्या होगी।
नगर निगम के कर प्रभारी श्रीगोपाल वशिष्ठ का कहना है कि नगर निगम ने पिछले वर्ष ही बुध बाजार को बंद करा दिया था। अब यदि खुला है तो बिना अनुमति के खुला होगा। यह भी बताते चलें कि नगर उद्योग व्यापार प्रतिनिधिमंडल ने कुछ दिनों पहले ही बुध बाजार को बंद कराने की मांग की थी, उसके बाद भी बुध बाजार का लगना प्रश्न चिह्न लगाता है।
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