नई दिल्ली। आज से पितृ पक्ष की शुरुआत हो गई है. शुक्रवार को पूर्णिमा का श्राद्ध है. आज 13 सितंबर को 13 साल बाद को दुर्लभ संयोग बन रहा है. आज की रात आसमान में फुल हार्वेस्ट मून (Full Harvest Moon) दिखाई देगा. आखिरी बार ऐसा चांद जनवरी 2006 में दिखाई दिया था।
आज का हार्वेस्ट मून आधी रात को यानी 14 सितंबर को रात 12 बजकर 33 मिनट पर अपने सर्वाधिक ऊंचाई पर होगा. जनवरी 2006 में भी बिल्कुल ऐसा ही हुआ था. 2006 में चांद पूरी तरह से सुबह 4 बजकर 48 मिनट पर अपनी सर्वाधिक ऊंचाई पर पहुंचा था.
क्या होता है हार्वेस्ट मून
आमतौर पर चंद्रमा सूर्यास्त के करीब 50 मिनट बाद उगता है. लेकिन आज चंद्रमा सूर्यास्त के ठीक 5 मिनट बाद ही दिखाई देने लगेगा. इसकी वजह से शाम में ही हल्की सी चांदनी दिखाई देने लगेगी. ऐसा मानना है कि इससे किसानों की फसल कटाई अच्छी होती है. इसीलिए इसका नाम फुल हार्वेस्ट मून रखा गया है.
काफी छोटा दिखेगा आज का चांद
आज पूर्णमासी है. आज के दिन पूरा चांद दिखता है. लेकिन विशेषज्ञों का मानना है कि आज का चांद अपेक्षाकृत छोटा दिखाई देता है. इसका कारण है कि आज का चांद अपनी कक्षा से थोड़ी दूर पर मौजूद होता है. जानकारों की मानें तो आज के बाद ऐसा संयोग 13 अगस्त 2049 में बनेगा जब फुल हार्वेस्ट मून दिखाई देगा.
अशुभ माना जाता है ऐसा संयोग
आपको बता दें बाहरी देशों में शुक्रवार को खराब दिन और 13 को खराब तारीख माना जाता है. ऐसे में नॉर्थ कैरोलिना (North Carolina) के एशविले (Asheville) के स्ट्रेस मैनजमेंट सेंटर एंड फोबिया इंस्टीट्यूट (Stress Management Center and Phobia Institute) की मानें तो अमेरिका में करीब 17 से 21 मिलियन लोग इस दिन से डरते हैं. इस डर के कारण वहां के लोग आज के दिन कोई बिज़नेस करने, सफर करने और किसी भी रिस्क वाले काम को करने से बचते हैं. बताया जा रहा है कि सिर्फ आज के दिन लोगों के इस फोबिया से करीब 80 से 90 करोड़ डॉलर का व्यापार नहीं होता.
क्यों माना जाता है इस मेल को अशुभ
12 नंबर पूर्णांक होता है. इसी के कारण 13 नंबर को असंतुलित माना गया है. इसी के कारण इसे अशुभ कहा जाता है. यह भी माना जाता है कि शुक्रवार को ही जीसस को सूली पर चढ़ाया गया था. ऐसे में इस तारीख और दिन के मेल को अशुभ माना जाता है.
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