यूनिक समय ,नई दिल्ली। संभल। मस्जिद के सर्वे के दौरान हुए बवाल एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था, वीडियो में उपद्रवियों पर काबू पाने के लिए पुलिस फायरिंग करती दिख रही थी। वीडियो में पुलिस अफसर अपने साथियों से कह रहे थे कि ‘गोली चलाओ-गोली चलाओ…’ मुरादाबाद रेंज के कमिश्नर आंजनेय कुमार ने एक टीवी चैनल पर इस वीडियो पर भी सफाई दी है। कमिश्नर ने कहा कि भीड़ को डराने के लिए ऐसा कहा गया था, उन्हें गोली मारने के लिए नहीं कहा था।
कमिश्नर ने कहा कि सर्वे टीम ने बताया था कि 19 नवंबर की रात में जब सर्वे करने पहुंचे तो सांसद जियाउर्रहमान बर्क और अन्य जनप्रतिनिधियों ने जांच में व्यवधान डालने की कोशिश की। इसी कारण चुनाव के बाद सर्वे की तारीख देनी पड़ी। जब सर्वे करने दोबारा टीम पहुंची तो बवाल शुरू हो गया। इसी कारण पुलिस ने सांसद पर केस दर्ज किया है।
कमिश्नर ने कहा कि जयश्री राम के नारे वाले वायरल वीडियो की जांच कराई गई है। यह वीडियो जामा मस्जिद परिसर के बाहर का है। यह नारा बाहर लगाया गया। इस वीडियो को जारी कर लोगों ने उपद्रव को दंगा साबित करने की कोशिश की, लेकिन साक्ष्यों के सामने आने पर उनकी रणनीति ध्वस्त हो गई। उन्होंने कहा कि सर्वे सुबह के समय हो रहा था। उस समय बाजार बंद था। इसलिए लोगों द्वारा यह कहा जाना कि उनके परिजन सब्जी खरीदने और अन्य सामान लेने गए थे, इस बात में कोई दम नहीं है। पुलिस इसकी जांच भी कर रही है।
आजाद समाज पार्टी के सांसद चंद्रशेखर को संभल जाने से रोकने के सवाल पर कमिश्नर ने कहा कि संभल में शांंति व्यवस्था कायम रखने के लिए सांसद को रोका गया। उनके बाद राजनीतिक दलों के लोग संभल पहुंचेंगे तो कानून-व्यवस्था बिगड़ सकती है। इसलिए नेताओं के संभल जाने पर रोक लगाई गई है।
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