मुंबई। राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार को मनी लॉन्ड्रिंग मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) के कार्यालय में पेश होने पर रोक लगा दी है. ईडी ने शरद पवार से दफ्तर न आने का अनुरोध किया है. साथ ही कहा है कि जब भी पूछताछ के लिए समन जारी किया जाए तभी वो (शरद पवार) ईडी दफ्तर पहुंचें। दरअसल शरद पवार ने आज यानी शुक्रवार को ईडी के दफ्तर में पेश होने की घोषणा की थी। इसे देखते हुए साउथ मुंबई ट्रैफिक पुलिस ईडी दफ्तर के आसपास के कई रास्ते बंद कर दिए हैं और रूट भी डायवर्ट कर दिए हैं. इलाके में पार्किंग पर भी रोक लगा दी गई है. वहीं इसके मद्देनजर शहर के सात पुलिस थानों में धारा 144 लगा दी गई है।
बता दें कि महाराष्ट्र सहकारी बैंक घोटाला मामले में एनसीपी प्रमुख शरद पवार उनके भतीजे और पूर्व उप-मुख्यमंत्री अजीत पवार और अन्य के खिलाफ धन शोधन का आपराधिक मामला दर्ज किया गया है. यह घोटाला करीब 25 हजार करोड़ रुपयों का बताया जा रहा है।
शरद पवार ने कहा था कि वो इसका स्वागत करते हैं
दो दिन पहले (बुधवार) शरद पवार ने मीडिया से कहा था कि अगर उन्होंने मेरे खिलाफ भी मामला दर्ज किया है, तो वो इसका स्वागत करते हैं. उन्हें तब आश्चर्य होगा जब राज्य के विभिन्न जिलों में अपनी यात्राओं के दौरान उन्हें मिली प्रतिक्रिया के बाद भी उनके खिलाफ ऐसी कार्रवाई न की जाती.
विधानसभा चुनाव से पहले दर्ज किया गया मामला
यह मामला ऐसे समय पर दर्ज किया गया है जब महाराष्ट्र की सभी 288 सीटों पर 21 अक्टूबर को विधानसभा चुनाव होने हैं. माना जा रहा है कि आरोपियों को जल्द ही उनके बयान दर्ज करने के लिए एजेंसी द्वारा समन किया जाएगा. ईडी मामले में आरोपियों में दिलीपराव देशमुख, इशरलाल जैन, जयंत पाटिल, शिवाजी राव, आनंद राव अदसुल, राजेंद्र शिंगाने और मदन पाटिल शामिल हैं. राज्य की आर्थिक अपराध शाखा (EOW) द्वारा दर्ज शिकायत के आधार पर इस साल अगस्त में मुंबई पुलिस ने एक एफआईआर दर्ज की थी. मुंबई पुलिस द्वारा दर्ज एफआईआर के आधार पर ईडी ने धन शोधन के मामले में आपराधिक आरोप लगाए हैं.
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