साक्षात्कार: उम्मीदवार विकास की उम्मीद जगा मांग रहे जीत का आशीर्वाद

उत्तर-पूर्वी संसदीय क्षेत्र में इस बार रोमांचक मुकाबला है। भाजपा और कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्षों के साथ आप के दिलीप पांडेय मुख्य मुकाबले में हैं। कांग्रेस जहां दिल्ली के विकास के लिए भाजपा और आप को जिम्मेदार ठहरा रही है, आप प्रत्याशी केजरीवाल सरकार के कार्यों के बूते जनता के बीच जा रहे हैं। वहीं भाजपा उम्मीदवार मनोज तिवारी का कहना है कि मेरा मुकाबला क्षेत्र की दुर्दशा से है। कुल मिलाकर तीनों ही प्रत्याशी विकास को मुख्य मुद्दा बनाए हुए हैं। इन प्रत्याशियों ने अमर उजाला के सवालों के ये जवाब दिए..
उत्तर-पूर्वी दिल्ली से भाजपा प्रत्याशी मनोज तिवारी से पूछे गए सवाल का जवाब

सवाल: वोटर आपको वोट क्यों दे और आप पर भरोसा क्यों करें?
जवाब: पिछले पांच वर्ष से क्षेत्र में सभी रुके हुए विकास कार्यो को पूरा करवाया। सिग्नेचर ब्रिज का काम रुका पड़ा था, भाजपा के कार्यकाल में शुरू हुआ कांग्रेस व आप सरकार भी पूरा नहीं करवा पाई। आखिर मेरे प्रयास से काम पूरा हुआ। नेशनल हाइवे से क्षेत्र को जुड़वाया। इसके अलावा बिजली, पानी से लेकर साफ सफाई तक का प्रबंध कराया। सीलिंग के खिलाफ खुलकर आया और सीलिंग रुकवाई। लोगों का प्यार है कि वे उन पर भरोसा कर रहे हैं।

सवाल: चुनाव प्रचार आखिरी चरण में है, त्रिकोणीय मुकाबले में आप सीधा मुकाबला किससे देखते हैं और क्यों?
जवाब: मेरा किसी से मुकाबला नहीं है। कांग्रेस-आप कुछ नहीं है। मेरा मुकाबला तो क्षेत्र की दुर्दशा से है। पांच वर्ष में काफी प्रयास कर क्षेत्र में सुधार किया है और अगले पांच साल में सभी समस्याएं दूर कर देंगे। शीला को तो पकड़ कर लाना-ले जाना पड़ता है राहुल गांधी ने माताजी को सजा दी है। रही बात आप प्रत्याशी की वे मुकाबले में कभी रहे ही नहीं।

सवाल: आपके संसदीय क्षेत्र का सबसे बड़ा मुद्दा क्या है?
जवाब: कांग्रेस राज में क्षेत्र में काम हुआ नहीं और आप सरकार केंद्र सरकार से लड़ने में ही लगी है। काम करने में सरकार की रुची नहीं रही। अनधिकृत कॉलोनियों में तो विकास हुआ ही नहीं है। शिक्षा के लिए ना तो स्कूल और ना ही कॉलेज खुले। काफी काम करवा दिया और अब मुख्य मुद्दा है क्षेत्र को आदर्श बनाने का है। वह भी पूरा करवाने में कोई कसर नहीं रहेगी।

सवाल: आप अपने पांच साल के काम को किस तरह देखते हैं? आपके हिसाब से कौन से काम नहीं हो पाए?
जवाब: आप सरकार ने हर काम में बाधा उत्पन्न की, बावजूद इसके सिग्नेचर ब्रिज का निर्माण करवाया। ऐलिवेेटेड रोड का निर्माण शुरू करवाया। इससे शास्त्री पार्क से शामली की दूरी तय करने में मात्र 45 मिनट लगेंगे। क्षेत्र की सड़कों का निर्माण करवाने के अलावा पार्कों व स्कूलों का सुधार करवाया।

सवाल: चुनाव जीतने के बाद आपकी प्राथमिकता क्या होगी?
जवाब: क्षेत्र के लिए तो काम करवाने ही है साथ ही यह भी देखना है कि बेरोजगारों को किस प्रकार रोजगार मिले। रोजगार मिलने से ही सही दिशा में काम हो सकता है। यह देखना भी जरूरी है कि अनधिकृत कॉलोनियों में सभी बुनियादी सुविधाएं मिले। लोग अपना जीवन यापन सही तरीके से कर सकें। क्षेत्र में सबसे बड़ी समस्या सीलिंग की है पूरा प्रयास रहेगा कि लोग अपना काम धंधा कर सके और परेशान न हो। सीलिंग किसी भी हालत में नहीं होने देंगे।
धर्म, जाति, बिरादरी के नाम पर वोट नहीं मांग रही, दिल्ली का समान विकास करूंगी: शीला दीक्षित
सवाल: वोटर आपको वोट क्यों दे, वो आप पर भरोसा क्यों करें?
जवाब: दिल्ली की जनता जानती है कि किसके कार्यकाल में दिल्ली का कितना विकास हुआ। पंद्रह साल मुख्यमंत्री रहने के दौरान दिल्ली में विकास का काम किया। दिल्ली में फ्लाइओवर के जाल बिछ गए। उत्तर-पूर्वी दिल्ली में ट्रैफिक जाम की समस्या खत्म हुई। बिजली की समस्या नहीं रही। सार्वजनिक परिवहन व्यवस्था बेहतर हुई।

सवाल: चुनाव प्रचार आखिरी चरण में है, त्रिकोणीय मुकाबले में आप सीधा मुकाबला किससे देखते हैं और क्यों?
जवाब: मेरा काम याद किया जा रहा है। मेरे शासन काल में किए गए विकास के कार्य को देखते हुए जनता यह तय करेगी कि मौजूदा सांसद ने विकास किया या मौजूदा आम आदमी पार्टी की सरकार के प्रत्याशी ने। इस संसदीय क्षेत्र से मैं पहले भी लड़ चुकी हूं।

सवाल: आप अमौजूदा सांसद के पांच साल के काम को किस तरह देखती हैं? आपके हिसाब से कौन से उन्होंने नहीं किए?
जवाब: ना तो मौजूदा सांसद और ना ही मौजूदा सरकार ने दिल्ली के विकास के लिए कोई ठोस योजना बनाई। मेरे ही द्वारा शुरू किए गए प्रोजेक्ट को पूरा किया गया। हालांकि इस प्रोजेक्ट के पूरा करने में भी टाइम लाइन का ध्यान नहीं दिया गया। सिग्नेचर ब्रिज हो या बाहरी रिंग पर एलिवेटेड रोड का निर्माण। सब कांग्रेस के शासनकाल में ही शुरू किया गया था।

सवाल: आपके संसदीय क्षेत्र का सबसे बड़ा मुद्दा क्या है?
जवाब: एक समस्या हो तो बताऊं। कभी आप तंग गलियों में जाकर देखें। अनधिकृत कॉलोनियों में तो विकास हुआ ही नहीं है। गंदगी के अंबार लगे हैं। गंदे पानी पीने को लोग मजबूर है। ट्रैफिक की समस्या पर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। सड़कें गड्ढों में तब्दील हो गईं हैं। लाडली योजना मैने शुरू की थी, मौजूदा सरकार ने इस योजना को भी बंद कर दिया। शिक्षा के लिए ना तो स्कूल और ना ही कॉलेज खुले।

सवाल: चुनाव जीतने के बाद आपकी प्राथमिकता क्या होगी?
जवाब: मैं धर्म, जाति, बिरादरी के नाम पर वोट नहीं मांग रही हूं। दिल्ली का समान विकास करूंगी। लाडली योजना शुरू कर बच्चियों को पढ़ाई के लिए प्रोत्साहित करूंगी। अनाधिकृत कॉलोनियों को विकास की पटरी पर लाऊंगी ताकि लोग सम्मानित जीवन जी सके। मूलभूत आवश्यकताओं से वंचित नहीं रह सके।
हमारे चुनाव को जनता ने बना लिया है अपना: दिलीप पांडेय
सवाल: वोटर आपको वोट क्यों दे?, आप पर भरोसा क्यों करें?
जवाब: करीब एक साल से लोग देख रहे हैं कि मैं उन्हीं के बीच का और उनके हर सुख-दुख का साथी रहा हूं। लोगों की मांग पर कई काम करवाए हैं और जरूरत होने पर एमसीडी व केंद्र सरकार से लड़ाई भी लड़ी है। यह बात तबकी है, जब मैं उम्मीदवार भी नहीं था। काम की कौन कहे, आज मनोज तिवारी जैसे सेलीब्रिटी और शीला दीक्षित जैसी हाई प्रोफाइल सख्शियत से मिलना ही नामुमकिन है। इस बात को लोग बखूबी समझते हैं। इस बार का चुनाव बड़े आदमी बनाम आम आदमी का है, जिसमें आम आदमी का जीतना तय है।

सवाल: चुनाव प्रचार आखिरी चरण में है, त्रिकोणीय मुकाबले में अपना मुकाबला किससे देख रहे हैं?
जवाब: त्रिकोणीय मुकाबला कैसे? कांग्रेस को तो दिल्ली की जनता ने 5 साल पहले ही नकार दिया है। एक बार नहीं, चार-चार बार। तो सीधा मुकाबला भाजपा से है। हकीकत में यह चुनाव मैं लड़ ही नहीं रहा हूं, इसे तो उत्तर-पूर्वी दिल्ली के लोगों ने इसे अपना चुनाव बना लिया है। और जब जनता ने चुनाव अपने हाथ में ले लिया तो वह मुकाम हासिल करेगा ही। जानकार हैरानी होगी कि हमारे ऑफिस में खर्च होने वाला बिस्कुट, चाय, दूध, पानी, चादर, बिस्तर आदि करीब छह महीने से अलग-अलग लोग रोजाना पहुंचा जाते हैं।

सवाल: शीला दीक्षित कांग्रेस का बड़ा चेहरा हैं, डर में तो उनको नहीं नकार रहे हैं?
जवाब: एक बार जो फिल्म सिनेमा से उतर जाती हैं, उसका टिकट लेने कोई नहीं जाता। भले ही ब्लॉकबस्टर रही हो। तो वह चाहे जितना बड़ा चेहरा हों कांग्रेस से, उससे वोट का बंटवारा नहीं होगा। लोग वोट का बंटवारा करके भाजपा को जिताने के मूड में कतई नहीं हैं। यही बात हम कांग्रेस का समझाने की कोशिश कर रहे थे, लेकिन अफसोस रहा कि जनता समझ गई, लेकिन कांग्रेस नहीं।

सवाल: मनोज तिवारी पूर्वांचल से हैं और काफी फैन फालोइंग भी है। कितनी बड़ी चुनौती है?
जवाब: मनोज तिवारी 5 साल के सांसद भी हैं। हमारी छोड़िए, भाजपा के किसी वरिष्ठ नेता से बात करें, तो वह मनोज तिवारी को कामकाज के लिहाज से शून्य अंक देगा। बाकी सांसदों की तुलना वह नीचे से पहले पायदान होंगे। इस वक्त वह आप सरकार के कामों को अपनी रैलियों में अपना गिना रहे हैं।

सवाल: आपकी प्राथमिकता क्या होगी?
जवाब: विकास के पैमाने पर उत्तर पूर्वी दिल्ली को बाकी दिल्ली के बराबर खड़ा करना। सबसे पहले सड़कों को जाममुक्त करना है। फिर नालों के किनारे जिंदगी गुजर कर रहे लोगों को बेहतर माहौल देना है। लेकिन उससे पहले दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा दिलाना है। जिससे बनाई योजनाओं पर केंद्र सरकार अड़चन पैदा न कर सके

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