
यूनिक समय, नई दिल्ली। चेन्नई की अदालत ने अन्ना यूनिवर्सिटी परिसर में 19 वर्षीय छात्रा से दुष्कर्म और यौन उत्पीड़न के मामले में आरोपी बिरियानी विक्रेता ज्ञानशेखरन को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। अदालत ने सजा के तहत यह स्पष्ट किया कि दोषी को आजीवन जेल में रहना होगा।
न्यायाधीश एम. राजलक्ष्मी ने फैसला सुनाते हुए आरोपी पर ₹90,000 का जुर्माना भी लगाया। आरोपी पर यौन उत्पीड़न, दुष्कर्म, धमकी, अपहरण सहित 11 गंभीर धाराओं में मामला दर्ज था, जिनमें उसे दोषी ठहराया गया।
अदालत में मामले के दौरान 29 गवाहों की गवाही हुई और पुलिस द्वारा 100 पन्नों की चार्जशीट दाखिल की गई थी। सुनवाई के दौरान आरोपी ने अपनी वृद्ध मां और आठ वर्षीय बेटी की देखभाल का हवाला देते हुए न्यूनतम सजा की अपील की थी, जिसे न्यायालय ने खारिज कर दिया।
यह अपराध 23 दिसंबर 2024 को घटित हुआ था, जब ज्ञानशेखरन अन्ना यूनिवर्सिटी परिसर में छात्रा और उसके पुरुष मित्र को धमकाते हुए पहुंचा। उसने छात्रा के मित्र के साथ मारपीट की और छात्रा पर हमला कर दिया। इसके बाद वह घटना का वीडियो बनाकर ब्लैकमेल करने की कोशिश कर रहा था। उसी दिन पुलिस ने आरोपी को गिरफ्तार कर लिया।
सरकार को अदालत ने पीड़िता को 25 लाख रुपये की अंतरिम राहत देने का निर्देश भी दिया है। इसके अतिरिक्त, यौन उत्पीड़न और प्राथमिकी लीक की जांच के लिए केवल महिलाओं की विशेष जांच टीम (SIT) गठित की गई थी, जिसने 24 फरवरी को अपनी जांच पूरी कर चार्जशीट दाखिल की थी।
यह मामला बाद में 7 मार्च को महिला अदालत को सौंपा गया, जहाँ सुनवाई के बाद अब यह कड़ा फैसला सुनाया गया।
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