ईयरफोन ने ली जान, आप ऐसा कतई न करें

आगरा। स्मार्टफोन आज की जरूरत बन गई है। स्मार्टफोन के साथ इंटरटेनमेंट का एक बड़ा साधन हर वक्त हमारे हाथ या पॉकेट में होता है। स्मार्टफोन का इस्तेमाल हम कैसे करते हैं यह हम पर ही निर्भर करता है। कोई चीज कितनी भी अच्छी क्यों न हो, उसका ज्यादा इस्तेमाल नुकसान ही देता है। फिर स्मार्टफोन लगातार आपका मनोरंजन करता रहे, इसके लिए उसे बिजली से चार्ज करना भी जरूरी होता है। चार्ज करते समय मोबाइल का इस्तेमाल नही करना चाहिये, यह आपके जीवन के लिए खतरनाक हो सकता है। कई लोग ऐसी सूचनाओं को गंभीरता से नहीं लेते और फिर उन्हें इसका खामियाजा भुगतना पड़ता है। ऐसा ही कुछ हुआ उत्तर प्रदेश के आगरा जिले में।

यहां एक युवक मोबाइल पर फिल्म देख रहा था। फिल्म का मजा दोगुना करने के लिए उसने कान में ईयरफोन लगाकर रखा था। ताकि कोई डायलॉग मिस न हो जाए। फिल्म देखते-देखते कहीं फोन की बैटरी खत्म न हो जाए, इस डर से युवक ने फोन को चार्जिंग पर भी लगा दिया। यही उसकी सबसे बड़ी गलती थी। कान में ईयर फोन और चार्जिंग सॉकेट में चार्जर लगाकर मूवी का मजा ले रहे युवा को आभास भी नहीं था कि वह किस खतरे से खेल रहा है। मोबाइल में अचानक ब्‍लास्‍ट हुआ और युवक की जान चली गई। उसी के बगल में सो रहा भाई भी इस धमाके में घायल हो गया। दोनों युवाओं के शरीर से धुआं निकल रहा था। धमाके की आवाज सुनकर बचाने पहुंची मां भी करंट से झुलस गई।

वाट्सएप पर भी अक्‍सर ऐसे वीडियो वायरल होते हैं जो बताते हैं कि चार्जिंग के वक्‍त मोबाइल का प्रयोग कतई न करें पर अक्‍सर लोग इस चेतावनी को नजरअंदाज कर देते हैं। शुक्रवार दोपहर जिला आगरा की फतेहाबाद तहसील में ऐसी ही घटना हुई। जिसमें एक युवक की जान चली गई और दूसरे की जान पर बन आई।

जीवन पर भारी पड़ा मोबाइल प्रेम
गांव नगर चंद में धर्मेंद्र पुत्र राममूर्ति सिंह अपने चचेरे भाई नीरज पुत्र राजेंद्र उम्र करीब 20 वर्ष के पास सो रहा था। नीरज अपने कान में मोबाइल की लीड लगाकर मूवी देख रहा था। मोबाइल चार्ज भी हो रहा था। तभी अचानक मोबाइल फट गया। मोबाइल फटते ही पूरे कमरे में अंधेरा छा गया। धर्मेंद की मां सुखवंती धमाके की आवाज सुनकर दौड़ी आईंं। कमरे के अंदर का दृश्‍य देखकर उनके होश उड़ गए। दोनों युवकों के शरीर से धुआंं निकल रहा था।

बचाने आई मां तो लगा करंट
सुखवंती के मुंह से चीख निकल गई और बच्‍चों को बचाने के लिए उनके कान में लगी ईयर फोन की लीड निकालने का प्रयास करने लगी। लेकिन दोनों के अंदर करंट होने के कारण सुखवंती भी झटका खाकर दूर जा गिरी। चीख पुकार सुनकर आसपास के लोग इकट्ठा हो गए। लोगों ने मौके पर पहुंचकर मोबाइल के चार्जर की लीड निकालकर दोनों को गंभीर हालत में इलाज के लिए फतेहाबाद अस्‍पताल में भर्ती कराया। जहां डॉक्टरों ने नीरज को मृत घोषित कर दिया। वहीं धर्मेंद्र का इलाज चल रहा है।

मोबाइल इस्‍तेमाल के साथ येे बातेें रखेंं ध्‍यान  

  • मोबाइल फोन को कभी तकिये के नीचे रखकर न सोएं। चार्ज करते समय भी मोबाइल को बिस्तर या कपड़ों के पास न रखें।
  • मोबाइल को कभी भी अपने शर्ट की जेब में या सीने के पास न रखें। इससे रेडिएशन का खतरा तो रहता ही है, लेकिन मोबाइल ब्लास्ट की स्थिति में व्यक्ति की जान भी जा सकती है।
  •  मोबाइल को रातभर कभी चार्ज न करें। कभी भी डुप्‍लीकेट या लोकल चार्जर का उपयोग न करें। हमेशा जिस कंपनी का फोन है, उसी कंपनी द्वारा मुहैया किए जाने वाला चार्जर का इस्तेमाल करें।
  • मोबाइल चार्ज करते समय किसी तरह के एडेप्टर का उपयोग न करें।
  • मोबाइल चार्ज करते समय उसे धूप में न रखें। चार्ज करते समय मोबाइल को केस या कवर से बाहर निकाल दें।
  • यदि मोबाइल गर्म हो रहा है तो उसका उपयोग न करें। फोन में कोई खराबी आए तो लोकल शॉप पर न सुधरवाएं।
  • मोबाइल चार्ज करते समय उस पर कोई दूसरी चीज या दबाव न डालें। जहां तक संभव हो कार के मोबाइल चार्जिंग एडॉप्टर का उपयोग करने से बचें।
  • सस्ते पॉवर बैंक से बचें। हमेशा ब्रांडेड कंपनी का पॉवर बैंक ही खरीदें।

युवाओं के बड़ा सबक
यह हादसा युवाओं के लिए बड़ा सबक है। अक्‍सर युवा देर रात तक मोबाइल पर फिल्म देखते हैं या गेम्‍स खेलते हैं। बैटरी डाउन होने की स्थिति में फोन चार्जिंग पर लगा दिया। पेरेंट्स की नींद में खलल न पड़े, इसके लिए ईयर फोन भी लगा लेते हैं। यह शौक बड़े हादसे को खुला निमंत्रण है। समझ लीजिए आप मोबाइल पर नहीं बल्कि अपनी जान से खेल रहे हैं।

Be the first to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published.


*