भारत ने बंद किया पाकिस्तान से आयात, मजबूर हुए इमरान खान

नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में हुए आतंकी हमले के बाद से भारत और पाकिस्तान के बीच व्यापार में बहुत ज्यादा गिरावट देखने को मिली है। भारत ने इस आतंकी हमले के बाद बेहद सख्त कदम उठाते हुए पाकिस्तान के सभी उत्पादों पर 200 फीसद आयात शुल्क लगा दिया था। इस फैसले के कारण इस साल मार्च में पाकिस्तान से होने वाला आयात 92 फीसद घटकर 28.4 लाख डॉलर पर आ गया। यह गिरावट इतनी ज्यादा है कि अगर ऐसा कहा जाए कि इस साल मार्च में पाकिस्तान से आयात लगभग बंद ही हो गया था, तो कोई अतिशयोक्ति नहीं होगी। बता दें कि जिन उत्पादों पर शुल्क बढ़ाया गया था, उनमें प्रमुखता से कपास, ताजे फल, सीमेंट, पेट्रोलियम उत्पाद, खनिज, आदि शामिल हैं।

वाणिज्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक मार्च 2018 में पाकिस्तान से भारत में 3.461 करोड़ डॉलर का आयात हुआ था। इस साल मार्च में पाकिस्तान से हुए 28.4 लाख डॉलर के आयात में से 11.9 लाख डॉलर का आयात कपास का हुआ। विशेषज्ञों के मुताबिक कुछ घरेलू मैन्यूफैक्चरिंग निर्यातकों को एडवांस अथॉराइजेशन योजना के तहत पाकिस्तान से कच्चे माल के आयात पर शून्य आयात शुल्क का लाभ मिला होगा। आलोच्य महीने में पाकिस्तान से आयात किए गए प्रमुख कमोडिटी में प्लास्टिक्स, बुने हुए कपड़े, रसायन, कृत्रिम रेशे और ऊन शामिल हैं।

मार्च 2019 तिमाही में पाकिस्तान से आयात 47 फीसद घटकर 5.365 करोड़ डॉलर पर आ गया। भारत से पाकिस्तान को निर्यात भी करीब 32 फीसद घटकर मार्च में 17.134 करोड़ डॉलर रह गया। हालांकि पूरे वित्त वर्ष 2018-19 में यह निर्यात 7.4 फीसद बढ़कर दो अरब डॉलर पर पहुंच गया। भारत से पाकिस्तान को निर्यात किए जाने वाले प्रमुख उत्पादों में कार्बनिक रसायन, कपास, परमाणु रिएक्टर, ब्वॉयलर, प्लास्टिक उत्पाद, अनाज, चीनी, कॉफी, चाय, लोहा और इस्पात के सामान और फुटवियर शामिल हैं। गौरतलब है कि भारत ने पाकिस्तान को दिया मोस्ट फेवर्ड नेशन (एमएफएन) का दर्जा भी वापस ले लिया है।

बंद पाक हवाई क्षेत्र से भारत-अफगान कारोबार प्रभावित

काबुल और नई दिल्ली के बीच वाणिज्यिक उड़ानों के लिए पाकिस्तान का हवाई क्षेत्र बंद होने से भारत को अफगानिस्तान से होने वाला निर्यात 30 फीसद घट गया। भारत द्वारा 26 फरवरी को जैश-ए-मुहम्मद के पाकिस्तान स्थित आतंकी ठिकाने पर किए गए हवाई हमले के बाद पाकिस्तान ने सभी वाणिज्यिक उड़ानों के लिए अपना हवाई क्षेत्र बंद कर दिया था। मार्च में पाकिस्तान ने भारतीय उड़ानों को छोड़कर शेष उड़ानों के लिए अपना हवाई क्षेत्र खोल दिया था। काबुल-दिल्ली उड़ानों के लिए अभी ईरान और चीन के मार्ग का इस्तेमाल हो रहा है। यह महंगा पड़ता है और इसमें समय भी अधिक लगता है। पिछले महीने पाकिस्तान ने कहा था कि भारत के साथ लगा उसका हवाई क्षेत्र 14 जून तक बंद रहेगा।

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