किसान आंदोलन: हाइवे पर भूखे-प्यासे 18 घंटे फंसे रहे जाम में यात्री

यूनिक समय, मथुरा/ चौमुंहा/ छाता/ कोसीकलां। कृषि बिलों को वापस कराने की मांग को लेकर दिल्ली पंजाब, हरियाणा तथा पश्चिमी उप्र समेत कई राज्यों के किसानों के चल रहे आंदोलन का असर हाइवे पर साफ दिखा। हरियाणा सीमा सील कर दिए जाने के बाद मथुरा पुलिस ने एनएच-2 पर कई जगहों पर वाहनों को रोक दिया। इस कारण जाम की स्थिति बन गई। बीच रास्ते में फंसे यात्रियों की परेशानी को देखते हुए हरियाणा-यूपी करमन बॉर्डर पर एसपी टे्रफिक कमल किशोर एवं छाता सर्किल के डिप्टी एसपी जगदीश कालीरमन ने बॉर्डर पर मौजूद हरियाणा पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों से वार्ता कर जाम में फंसे लोगों को उनके गंतव्य तक पहुंचाने के लिए कुछ घंटों के लिए हाइवे को खोल दिया।


गौरतलब है कि मथुरा से कोसीकलां थाना क्षेत्र स्थित हरियाणा बार्डर से किसानों को दिल्ली से पहुंचने से रोकने के लिए हरियाणा राज्य के पुलिस अधिकारी फोर्स समेत तैनात कर दिए गए थे। हरियाणा में प्रवेश करने वाले रास्तों पर बड़े-बड़े पत्थर लगा कर बन्द कर दिया। बताया जा रहा है कि सुबह 8 बजे से हरियाणा पुलिस ने वाहनों को रोकना शुरू कर दिया । इसमे सैकड़ों वाहन फंसे हुए नजर आये। ट्रकों में लाखों रुपयों की भरी हुई सब्जी, चावल, आलू, टमाटर, सहित अन्य खाद्य एवं पेय पदार्थ खराब हो रहे है। जाम में ज्वलनशील गैस के कैप्सूल भी जाम में थे। उत्तर प्रदेश से दिल्ली जाने वाला दूध भी नही निकल सका। मरीजों ंको लेकर जा रही एम्बुलेंस भी खड़ी रही। इस कारण तीमारदार बहुत दुखी दिखाई दिए ।

ड्राइवर आंसू खान ने बताया कि वह मध्य प्रदेश से दिल्ली ट्रक लेकर जा रहा था। कल रात 11 बजे से उसका ट्रक अकबरपुर के नजदीक जाम में फंसा हुआ है। उसे काफी बहुत परेशान उठानी पड़ रही है। हाइवे पर कोई दुकान न होने के कारण सुबह से उसे चाय तक नसीब नहीं हुई है। मोहम्मद फारूक ने बताया की वह कोलकता से दिल्ली ट्रक से बारदाना लेकर जा रहा था। हाइवे पर रात से जाम में फंसा होने के कारण वह रात से ही भूखा प्यासा है।

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