महाराष्ट्र में लंबी खींचतान के बाद शिवसेना का राजपाठ!

महाराष्ट्र में विधानसभा चुनाव के परिणाम आए 28 दिन बीत गए, लेकिन अभी तक सरकार बनाने को लेकर अटकलों का दौर ही चल रहा था। अब कहा जा रहा है कि सभी अटकलों और कयासों पर विराम लगाने का समय आ गया है। अब सूबे में सरकार बनाने को लेकर जल्द ही बड़ी घोषणा होने वाली है। हिन्दुत्व कि राह पर चलने वाली और बीजेपी (bjp ) के साथ बगावत कर अपने विरोधी दलों से हाथ मिलाने वाली शिवसेना का सपना अब पूरा होने वाला है।

महाराष्ट्र में सेना बनेगी राजा!

महाराष्ट्र में आखिर सरकार बनाने की तस्वीरे साफ होते जा रही है। बताया जा रहा है कि कांग्रेस वर्किंग कमेटी ने राज्य में सरकार बनने पर अपनी मुहर लगा दी है। इस बारे में एनसीपी ने पहले ही हरी झंडी दिखा दी थी। यह भी तय हो गया है कि राज्य में शिवसेना का मुख्यमंत्री पूरे 5 साल के लिए होगा। राज्य में एनसीपी और कांग्रेस के दो डिप्टी सीएम होंगे। सीडब्लूसी की बैठक में तय हुआ है कि कांग्रेस अपनी विचारधारा से कोई समझौता नहीं करेगी। यह भी तय हुआ है कि विवादित मुद्दों को ना शिवसेना उठाएगी और ना ही कांग्रेस-एनसीपी उठाएगी। इसके लिए एक ड्राफ्ट भी तैयार किया जा चुका है।

नई सरकार में ये होंगे मुद्दे ?

महाराष्ट्र में शिवसेना–कांग्रेस–एनसीपी की सरकार का मुख्य लक्ष्य किसानों पर केन्द्रित रहेगा। इसके साथ ही छोटे वर्कर, उद्योग, छोटे दुकानदार, छोटे उद्योग, निर्यात, आदीवासी और दलितों का विशेष ध्यान रखने का लक्ष्य रखा गया है। शिवसेना, कांग्रेस और एनसीपी सहित छोटे दलों का जो गठबंधन बनेगा, उसका नाम महाशिव गठबंधन नहीं बल्कि महाराष्ट्र विकाश आघाड़ी यानी महा विकास गठबंधन होगा। कुछ समय पहले एनसीपी और कांग्रेस सरकार बनाने के लिए बहाने बना रही थी। सत्ता की लालच में शिवसेना ने अपने सिद्धांतों से समझौता कर लिया है। मुख्यमंत्री पद की चाह में शिवसेना सरकार बनाने को आतुर बैठी है।

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