शिवसेना ने महाराष्ट्र में थामा कांग्रेस का हाथ, टूटेगी वर्षों पुरानी मित्रता

महाराष्ट्र में कुर्सी की रेस को लेकर शुरू हुआ दंगल खत्म होने का नाम ही नहीं ले रहा है। शिवसेना अपने 50-50 वाले फॉर्मूले के तहत सरकार बनाने की चाह रख रही है, लेकिन भाजपा ने फिलहाल चुप्पी तोड़ दी है। भाजपा-शिवसेना की तकरार के बीच कांग्रेस की बल्ले-बल्ले हो सकती है। महाराष्ट्र के सीएम देवेन्द्र फाड़नवीस ने कहा है कि वे शिवसेना के 50-50 वाले फॉर्मूले पर राजी नहीं है और उनके बयानों के कारण भी भाजपा को झटका लगा है ।

टूटेगी वर्षों पुरानी मित्रता

हिन्दुत्व की राजनीति करने वाली भारतीय जनता पार्टी और शिवसेना की वर्षों पुरानी मित्रता टूटने है है, क्योंकि शिवसेना अभी भी अपनी पार्टी का मुख्यमंत्री बनाने पर अड़ी है वहीं भाजपा भी अपनी पार्टी के ही उम्मीदवार को सीएम पर सौंपना चाहती है। दोनों पार्टी के वरिष्ठ नेताओं ने महाराष्ट्र के राज्यपाल से अलग-अलग समय पर मुलाक़ात की। इनके बीच मे कांग्रेस ने भी बयान जारी कर शिवसेना को आमंत्रण दिया है कि वे उनके साथ मिलकर सरकार बनाने को तैयार है।

शिवसेना के साथ सरकार बना सकती है कांग्रेस

विधानसभा में नेता विपक्ष विजय वडेट्टीवार ने कहा था कि यदि शिवसेना कांग्रेस के साथ मिलकर सरकार बनाने का प्रस्ताव देती है तो महाराष्ट्र कांग्रेस इस मामले पर आलाकमान से बात करेगी। हमें विपक्ष की भूमिका दी गई है और हम उस भूमिका को निभाएंगे लेकिन अगर किसी विकल्प पर चर्चा की जानी है तो शिवसेना को हमारे पास आना चाहिए, उन्होंने अभी तक हमसे संपर्क नहीं किया है। गेंद बीजेपी के पाले में है। यह शिवसेना को तय करना है कि वे 5 साल का सीएम चाहते हैं या 2.5 साल की सीएम की मांग पर बीजेपी की प्रतिक्रिया का इंतजार करते हैं। यदि शिवसेना का प्रस्ताव हमारे पास आता है, तो हम हाईकमान से चर्चा करेंगे। वहीं शिवसेना ने भाजपा को चुनौती देते हुए कहा था कि यदि भाजपा हमारी शर्ते नहीं मानेगी तो हमारे पाद दूसरे कई विकल्प मौजूद हैं, जिन पर अभी तक हमने विचार नहीं किया है।

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