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मुंबई: महाराष्ट्र राजनीति में लगातार नए मोड़ आ रहे हैं. अब ख़बर है कि 4 विधायकों को छोड़कर सभी विधायक एनसीपी की मीटिंग में पहुँचे हैं. एनसीपी ने अपनी मीटिंग में अजीत पवार को विधायक दल के नेता के पद से हटा दिया है. दिलीप वलसे पाटिल को एनसीपी विधानमंडल का नेता चुन लिया गया है. पाटिल को शरद पवार का क़रीबी माना जाता है. महाराष्ट्र की राजनीति में ये काफ़ी बड़ा डेवलपमेंट है. दिलीप वलसे पाटिल इस मीटिंग से पहले अजीत पवार से मिलने के लिए पहुँचे थे.
उन्होंने अजीत पवार को समझाने की कोशिश की कि पार्टी की मीटिंग में चलें और आख़िर में उनके ख़िलाफ़ ये फ़ैसला ले लिया गया है. इसके पहले आज सुबह एक बड़ा उलटफेर करते हुए भाजपा के नेता देवेन्द्र फडनवीस ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ली. उनके साथ एनसीपी के वरिष्ठ नेता अजीत पवार दिखे जिन्होंने उपमुख्यमंत्री पद की शपथ ली. अजीत पवार के बारे में कहा जा रहा है कि 10 से 12 ही विधायक उनके साथ थे. इसके पहले शिवसेना-एनसीपी की साझा कांफ्रेंस शुरू हो गई है.
इस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए शरद पवार ने कहा कि अजीत पवार का फ़ैसला पार्टी लाइन के ख़िलाफ़ है. उन्होंने कहा कि कोई भी एनसीपी नेता या कार्यकर्ता एनसीपी-भाजपा की सरकार के समर्थन में नहीं है. शरद पवार ने कहा कि कांग्रेस, शिवसेना, और एनसीपी साथ आकर सरकार बना सकते हैं और हमारे पास नंबर थे. उन्होंने कहा कि हमारे पास तो ऑफिशियल नंबर हैं- 44, 56, और 54 विधायक हैं और कई अन्य का समर्थन मिलाकर ये आँकड़ा 170 के पार जाता है.इस प्रेस वार्ता में एनसीपी के विधायक राज्नेद्र शिन्गाने ने एक बड़ा बयान दिया है. शिन्गाने पवार के साथ राज भवन गए थे. उन्होंने बताया कि अजीत पवार का फ़ोन मेरे पास आया कि कुछ डिस्कस करना है और वहाँ से मुझे राज भवन ले जाया गया और जब तक मुझे पता चलता शपथ ग्रहण हो गया था.. फिर मैं जल्दी से पवार साहब के पास गया और उनसे कहा कि मैं शरद पवार और एनसीपी के साथ हूँ.
पवार ने इसके अतिरिक्त कहा कि मुझे यक़ीन है कि राज्यपाल ने बहुमत सिद्ध करने का मौक़ा दिया है और वो बहुमत सिद्ध नहीं कर पाएँगे…उसके बाद हम तीनों पार्टी मिलकर सरकार बनायेंगे. पवार से जब पूछा गया कि क्या आप अपने विधायकों को बचाने के लिए उन्हें होटल वग़ैरा में ठहराएंगे तो उन्होंने कहा कि हमसे जो बन पड़ेगा सब करेंगे.पवार ने कहा कि एक नया लेजिस्लेटिव पार्टी नेता पार्टी चार बजे चुनेगी. शिवसेना के वरिष्ठ नेता उद्धव ठाकरे ने कहा कि पहले EVM का खेल चल रहा था और अब ये खेल चल रहा है.. आगे तो चुनाव की ज़रूरत ही नहीं है..सभी जानते हैं छत्रपति शिवाजी महाराज के साथ धोका हुआ है और उन्हें पीठ में छुरा घोंपा गया है. पवार ने कहा कि मेरी जानकारी के मुताबिक़ पवार के साथ 10-12 विधायक थे जिनमें से तीन तो अभी ही यहाँ खड़े हैं.
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