नई दिल्ली। सिख धर्म की सर्वोच्च संस्था अकाल तख्त ने ‘स्वर्ण मंदिर’ के नाम पर सवाल उठाया है। अकाल तख्त ने दुनिया भर के सिखों से कहा है कि वे अपने प्रमुख धर्मस्थल को ‘स्वर्ण मंदिर’ या ‘गोल्डन टेंपल’ की जगह सचखंड श्री हरमंदिर साहब या श्री दरबार साहिब या श्री अमृतसर कहें।
यह निर्देश नैशनल हाइवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के उस साइन बोर्ड के बाद आया है जिसे पवित्र धर्म स्थल की ओर जाने वाले रास्ते पर लगाया गया था। इस पर लिखा गया है- ‘सुनहरी मंदिर’ जोकि ‘गोल्डन टेंपल’ का शाब्दिक अनुवाद है। अकाल तख्त के जत्थेदार ज्ञानी हरप्रीत सिंह का कहना है कि ‘गोल्डन टेंपल’ कहने से सिखों की धार्मिक भावनाएं आहत होती हैं। बुधवार को उन्होंने कहा, ‘दरबार साहिब मंदिर नहीं है बल्कि सिखों को पवित्र धर्म स्थल है।’
इसके अलावा अकाल तख्त ने सिरसा डेरा के एक अनुयायी की एक फेसबुक पोस्ट पर भी ऐतराज जताया है। इस अनुयायी ने अपने फेसबुक पर एक विडियो पोस्ट करके डेरा प्रमुख गुरमीत राम रहीम सिंह की तुलना सिखों के 10वें गुरु गुरु गोविंद सिंह से तुलना की है। जत्थेदार ने शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमिटी (एसजीपीसी ) को निर्देश दिया है कि वह आईपीसी की धारा 295 ए (किसी वर्ग के धर्म का अपमान करने के इरादे से पूजा स्थल या पवित्र स्थल को नष्ट करना या नुकसान पहुंचाना) के तहत डेरा अनुयायी के खिलाफ मामला दर्ज करे। एसजीपीसी चीफ सेक्रटरी रूप सिंह ने कहा, ‘हमने उस शख्स के खिलाफ मामला दर्ज करने के लिए पंजाब के डीजीपी को पत्र लिखा है।’
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