नई दिल्ली: वायु सेना चीन और पाकिस्तान की ओर से किसी भी संभावित चुनौतियों से निपटने पर फोकस के साथ अपनी संचालन तैयारियों के आकलन के लिए रविवार से सघन अभ्यास शुरू करेगी . अधिकारियों ने बताया कि दो सप्ताह तक चलने वाले अभ्यास को गगनशक्ति नाम दिया गया है. इस अभ्यास में वायु सेना के लड़ाकू विमानों के बेड़े सहित समूची साजो- सामान को शामिल किया जाएगा और दिन- रात के इस अभ्यास का मुख्य लक्ष्य सेना की युद्धक क्षमता का आकलन करना है|
पाकिस्तान को इस बारे में अवगत किया गया
अभ्यास के पहले चरण में उत्तरी सीमा पर फोकस होगा और पश्चिमी सीमा के पास दूसरे चरण में युद्ध जैसी स्थिति के मामले में तैयारियों की जांच की जाएगी . अधिकारियों ने बताया कि आठ से 22 अप्रैल तक चलने वाला अभ्यास हालिया दशकों में सबसे बड़े अभ्यास में होगा. निर्धारित प्रोटोकॉल के तहत पाकिस्तान को इस बारे में अवगत कराया जा चुका है . वायु सेना ने एक बयान में कहा कि इस अभ्यास का मकसद जल्द और भीषण युद्ध की परिस्थिति में वायु ताकत में समन्वय, तैनाती को परखना है|
110 लड़ाकू विमान खरीदने की प्रक्रिया शुरू
वहीं भारतीय वायुसेना की ताकत बढ़ने जा रही है. भारत ने शुक्रवार को 110 लड़ाकू विमानों के बेड़े की खरीद की प्रक्रिया शुरू की. हालिया वर्षों में यह दुनिया की सबसे बड़ी सैन्य खरीदारी में एक हो सकती है . वायु सेना ने अरबों डॉलर के खरीद सौदे के लिए आरएफआई ( सूचना के लिए अनुरोध) या शुरूआती निविदा जारी की है. यह सौदा सरकार के मेक इन इंडिया पहल के साथ होगा|
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