
यूनिक समय, नई दिल्ली। जैसलमेर में भारत और पाकिस्तान की सेनाएं एक-दूसरे के आमने-सामने हैं, और लगातार धमाकों की आवाजें सुनाई दे रही हैं। यह स्थिति युद्ध जैसी हो गई है, जिसके चलते प्रशासन ने नागरिकों को अपने घरों में रहने की सलाह दी है।
9 और 10 मई की रात पाकिस्तान ने भारत में मिसाइल हमले के साथ-साथ ड्रोन और फाइटर जेट्स का भी इस्तेमाल किया। हालांकि, भारतीय सेना ने इन हमलों को नाकाम कर दिया। जवाब में भारतीय सेना ने पाकिस्तान के 6 एयरबेस और कई रडार सिस्टम को निशाना बनाकर तबाह कर दिया।
राजस्थान के जैसलमेर जिले में अब हालात और अधिक गंभीर हो गए हैं, और यह इलाका युद्ध क्षेत्र में तब्दील हो चुका है। पाकिस्तान की सेना ने लगातार मिसाइल हमले किए हैं, जिनके बाद एयर डिफेंस सिस्टम ने अधिकांश हमलों को नष्ट कर दिया। इस बीच, जिला प्रशासन ने शहर में सभी प्रवेश और निकासी बंद कर दी है और नागरिकों को घरों के अंदर रहने की चेतावनी दी है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एक उच्चस्तरीय बैठक आयोजित की गई है, जिसमें भारतीय सेना के प्रमुख, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ और राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) अजीत डोवल भी शामिल हैं। यह बैठक कुछ महत्वपूर्ण निर्णयों की संभावना को जन्म देती है, जो स्थिति के आधार पर देश की सुरक्षा को और सुदृढ़ करने में मदद कर सकते हैं।
जैसलमेर में स्थित भारतीय एयरफोर्स स्टेशन और आर्मी कैंटोनमेंट के आसपास की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। पाकिस्तान द्वारा किए गए मिसाइल हमलों को भारतीय एयर डिफेंस सिस्टम ने नाकाम कर दिया है, और लगातार ड्रोन हमलों को भी नष्ट कर दिया गया है। भारतीय सेना का मानना है कि पाकिस्तान का लक्ष्य हवा से हमले करने का था, लेकिन भारतीय रक्षा तंत्र ने उसे हवा में ही नष्ट कर दिया है।
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