Maharastra Politics: भाजपा ने तय किया मुख्यमंत्री, अब क्या करेगी शिवसेना

मुंबई. राज्य विधानसभा चुनाव के बाद शिवसेना से चल रही तनातनी के बीच एक बार फिर देवेंद्र फडणवीस को भाजपा ने विधायक दल का नेता चुन लिया है, अब वे भाजपा की ओर से मुख्यमंत्री रहेंगे। बुधवार को विधानभवन में भाजपा के नवनियुक्त विधायक दल की बैठक में देवेंद्र फडणवीस को नेता चुना लिया गया। अगले मुख्यमंत्री पद और विधायक दल के नेता के लिए देवेंद्र फडणवीस के नाम का प्रस्ताव प्रदेश अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने रखा। वरिष्ठ नेता सुधीर मुनगंटीवार सहित 10 अन्य विधायकों ने उक्त प्रस्ताव का अनुमोदन किया। इस मौके पर भाजपा के राष्ट्रिय महामंत्री भूपेंद्र यादव, महामंत्री व प्रदेश प्रभारी सरोज पाण्डेय, राष्ट्रीय उपाध्यक्ष अविनाश खन्ना, महामंत्री सुजीत सिंह ठाकुर सहित भाजपा के विधायक उपस्थित थे।

मुख्यमंत्री ने भाजपा को पुन: महाजनदेश दिए जाने को लेकर जनता का आभार व्यक्त किया और उपस्थित विधायकों के विश्वास पर खरा उतरने का वचन भी दिया। फडणवीस ने इस मौके पर शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे का भी आभार व्यक्त करते हुए कहा कि राज्य में महायुति की सरकार बन रही है। दोनों दलों के लोग साथ होंगे। भाजपा शिवसेना के बीच तकरार के मुद्दों को दरकिनार करते हुए फडणवीस ने स्पष्ट किया कि आपसी सहमति के बाद दोनों दलों के बीच तालमेल बिठा लिया जाएगा। विधानभवन में पहली बार एकत्र हुए भाजपा के नवनियुक्त विधायक भगवा पगड़ी बांध कर उपस्थित हुए थे।

राकांपा का बयान, विपक्ष में बैठेंगे
महाराष्ट्र राकांपा प्रमुख जयंत पाटील ने बुधवार को कहा कि उनकी पार्टी और उसकी सहयोगी कांग्रेस जनादेश के मुताबिक राज्य में विपक्ष में बैठेगी। राज्य में सरकार गठन में शिवसेना का राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के समर्थन किए जाने की संभावना की अटकलों के बीच उनकी यह टिप्पणी आई है। पाटिल ने कहा, कि हमें लोगों ने विपक्ष में बैठने को कहा है और हम यह कर्तव्य निभाएंगे। अगली सरकार में सत्ता की साझेदारी को लेकर शिवसेना पक्ष प्रमुख उद्धव ठाकरे का उसके सहयोगी दल भाजपा के साथ संबंध तनावपूर्ण चल रहा है। पवार ने विपक्ष में बैठने का संकेत देते हुए कहा, हम इस पर नजर रखेंगे कि क्या सरकार सही दिशा में काम कर रही है? हम सुनिश्चित करेंगे कि सरकार की ओर से समाज के किसी भी तबके के साथ कोई अन्याय नहीं हो। एक दिन पहले मंगलवार को राकांपा के मुख्य प्रवक्ता नवाब मलिक ने कहा था कि यदि भाजपा राज्य विधानसभा में बहुमत जुटाने में नाकाम रहती है तो उस स्थिति में एक वैकल्पिक सरकार बनाने पर विचार किया जा सकता है। वहीं, शिवसेना ने सरकार गठन पर भाजपा के साथ अपनी बैठक मंगलवार को रद्द कर दी। इस घटनाक्रम के कुछ ही घंटे पहले मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़णवीस ने इस बात से इनकार किया था कि ठाकरे की पार्टी को सत्ता साझेदारी फार्मूले के तहत ढाई साल के लिये मुख्यमंत्री पद देने का आश्वासन दिया गया है।

उल्लेखनीय है 21 अक्टूबर को राज्य में हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा 105 सीटों के साथ सबसे बड़े दल के रूप में उभरी। वहीं, शिवसेना को 56, राकांपा को 54 और कांग्रेस को 44 सीटें मिली। राज्य विधानसभा में कुल 288 सीटें हैं। सूत्रों के मुताबिक देवेंद्र फडणवीस राज्यपाल से मुलाकात कर सकते हैं और 1-2 दिनों में सरकार बनाने का दावा पेश कर सकते हैं। ऐसा करके भाजपा, शिवसेना पर दबाव बनाने की कोशिश कर सकती है। वर्तमान सरकार का कार्यकाल नौ नवंबर को समाप्त हो रहा है और उससे पहले ही नई सरकार का गठन किया जाना है। महाराष्ट्र में भाजपा को 105 और शिवसेना को 56 विधायक मिले हैं, कुल 161 का आंकड़ा बहुमत के आंकड़े से काफी अधिक है।

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