पटना। बिहार में गद्दी संभालने के दो दिन बाद ही नीतीश सरकार पर विपक्ष ने सवालिया निशान लगाने शुरू कर दिए हैं। हाल ही में शिक्षा मंत्री के तौर पर नियुक्त किए गए मेवालाल चौधरी को लेकर आरजेडी ने राज्य सरकार पर निशाना साधा था। वहीं, अब महाराष्ट्र में कांग्रेस नेता संजय निरुपम ने भी एक वीडियो शेयर कर चौधरी की योग्यता पर सवाल उठाए हैं।
ये बिहार के नए शिक्षा मंत्री हैं।
कहते हैं, ये जनाब पहले किसी विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर थे।
राष्ट्रगान भी नहीं गा पाते।
भ्रष्टाचार के संगीन आरोप इन पर है,सो अलग।
भरतीय लोकतंत्र के इन पापों को कौन धोएगा ?pic.twitter.com/LRbaYVeutK— Sanjay Nirupam (@sanjaynirupam) November 18, 2020
शिक्षामंत्री राष्ट्रगान भूल गए
निरुपम ने अपने ट्विटर हैंडल से एक वीडियो शेयर किया है, जिसमें उन्होंने दावा किया है कि बिहार के नए शिक्षा मंत्री राष्ट्रगान भी नहीं गा पाते हैं। खास बात है कि मेवालाल चौधरी पहले भागलपुर कृषि विश्वविद्यालय के कुलपति रह चुके हैं। निरुपम ने लिखा ‘ये बिहार के नए शिक्षा मंत्री हैं। कहते हैं, ये जनाब पहले किसी विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर थे। राष्ट्रगान भी नहीं गा पाते। भ्रष्टाचार के संगीन आरोप इन पर है,सो अलग। भरतीय लोकतंत्र के इन पापों को कौन धोएगा ?’ हालांकि, हम इस बात की पुष्टि नहीं करते हैं कि वीडियो में नजर आ रहे शख्स शिक्षा मंत्री मेवालाल चौधरी ही हैं।
तेजस्वी जहाँ पहली कैबिनेट में पहली कलम से 10 लाख नौकरियाँ देने को प्रतिबद्ध था वहीं नीतीश ने पहली कैबिनेट में नियुक्ति घोटाला करने वाले मेवालाल को मंत्री बना अपनी प्राथमिकता बता दिया।
विडंबना देखिए जो भाजपाई कल तक मेवालाल को खोज रहे थे आज मेवा मिलने पर मौन धारण किए हैं। https://t.co/armjAXpwR4
— Lalu Prasad Yadav (@laluprasadrjd) November 18, 2020
दरअसल, इससे पहले यह वीडियो बिहार विधानसभा चुनाव की सबसे बड़ी पार्टी रही राष्ट्रीय जनता दल के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से शेयर किया गया था। इस वीडियो को शेयर कर आरजेडी ने भी नीतीश कुमार पर हमला बोला था। चौधरी पर पहले भी लग चुके हैं कई आरोपविधायक मेवालाल चौधरी को राज्य का शिक्षा मंत्री बनाए जाने के बाद से ही सियासी विवाद खड़ा हो गया है। एक ओर आरजेडी ने सवाल किया है कि अल्पसंख्यकों को नजरअंदाज कर दागी नेता को पद क्यों दिया गया है। हालांकि, चौधरी ने अपने ऊपर लग रहे तमाम आरोपों का खंडन किया है। चौधरी पर भागलपुर कृषि विश्वविद्यालय का कुलपति रहते हुए भवन निर्माण और नियुक्तियों में धांधली के आरोप लगते रहे हैं।
इसके अलावा चारा घोटाले में सजा काट रहे बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव ने भी नीतीश सरकार पर आरोप लगाए हैं। उन्होंने ट्वीट किया ‘तेजस्वी जहाँ पहली कैबिनेट में पहली कलम से 10 लाख नौकरियाँ देने को प्रतिबद्ध था वहीं नीतीश ने पहली कैबिनेट में नियुक्ति घोटाला करने वाले मेवालाल को मंत्री बना अपनी प्राथमिकता बता दिया। विडंबना देखिए जो भाजपाई कल तक मेवालाल को खोज रहे थे आज मेवा मिलने पर मौन धारण किए हैं।’
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