शिवसेना में टूट की शुरूआत, चढ़ा दी अपने विचारों की बलि

मुंबई: महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को शपथ ग्रहण किए अभी तक दो महीने भी नहीं हुए हैं, लेकिन उनकी सरकार में राज्यमंत्री अब्दुल सत्तार ने इस्तीफा दे दिया है. कैबिनेट मंत्री नहीं बनाए जाने से नाराज होकर उन्होंने इस्तीफा दिया है. अब्दुल सत्तार को शिवसेना कोटे से मंत्री बनाया गया था. बता दें कि संजय राउत भी अपने भाई को मंत्री न बनाए जाने से नाराज है. साथ ही कई अन्य वरिष्ठ शिवसेना नेता पार्टी पर विचारधारा से धोखा करने का कारण नाराज चल रहे हैं.

उद्धव ठाकरे पर राउत कस रहे तंज

अंदरखाने से ये जानकारी आ रही है महाराष्ट्र सरकार में मंत्री पद ना मिलने पर संजय राउत अपने नेता और सीएम उद्धव ठाकरे से बेहद नाराज हैं. ऐसे में सावरकर के बहाने उन्होंने ऐसी सोच को निशाना बनाया है. जाहिर है कि साथी दल होने के नाते शिवेसना कांग्रेस के हर कदम पर साथ हैं. सावरकर को लेकर कांग्रेस की आपत्तिजनक करतूत पर उद्धव ने अपनी जुबान पर ताला जड़ रखा है. ऐसे में उद्धव पर दबाव डालने के मकसद से संजय राउत ने ये बयान दिया है.

गठबंधन में भी चल रही आपसी खींचतान

महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार में विभागों के बंटवारे को लेकर घमासान जारी है. महा विकास अघाडी की पांच घंटे से अधिक समय तक चली मैराथन बैठक के बाद भी मंत्रालयों के आवंटन पर आम सहमति नहीं बन पाई. गठबंधन सरकार में सहयोगी कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के नेताओं के बीच गुरुवार रात इस विषय पर हुई बैठक में जोरदार बहस भी हुई.

कांग्रेस और NCP में आपसी घमासान

बताया जा रहा है कि मंत्रिमंडल विस्तार में 12 सीटें पाने वाली कांग्रेस ग्रामीण क्षेत्रों से संबंधित दो विभाग और चाहती है और वो अपनी इस मांग को लेकर अड़ी हुई है.कांग्रेस पार्टी मंत्रालयों के बंटवारे में ग्रामीण क्षेत्रों से संबंधित दो विभाग और चाहती है. बैठक के बाद अशोक चव्हाण ने बताया कि, ‘हमने सीएम उद्धव ठाकरे को अपना प्रस्ताव दे दिया है, वो उस पर विचार करेंगे.

शिवसेना ने चढ़ा दी अपने विचारों की बलि 

सत्ता का सुख भोगने के लिए शिवसेना ने अपने विचारों की बलि चढ़ा दी. सीएम की कुर्सी की खातिर हिन्दुत्व की हितैषी मानी जाने पाली पार्टी ने राष्ट्रवाद के नायक को दरकिनार करते हुए सावरकर के खिलाफ जहर उगलने वालों से गले मिल लिया. लेकिन, आज शिवसेना को अपनी इस गलती का पछतावा जरूर हो रहा होगा. क्योंकि, वो चाहकर भी कांग्रेस की जुबान पर ताला नहीं लगा पा रही है.

Be the first to comment

Leave a Reply

Your email address will not be published.


*